पायल तड़वी ही नहीं, बीते 7 साल में 54 युवाओं की रैगिंग से गई जान
Kapil Chauhan
News EditorImage Credit: Shortpedia
मुंबई में रैगिंग की वजह से खुदकुशी करने वाली डॉ. पायल तडवी इकलौती नहीं है। देश में 2012 के बाद से अबतक रैगिंग की वजह से आत्महत्या के 54 मामले सामने आए। UGC के मुताबिक 18 अप्रैल 2012 से 30 मई 2019 तक रैगिंग के 4696 शिकायतें दर्ज हुईं। इनमें से 4628 मामले बंद हुए। 52 केस अब भी कॉल सेंटर में, 2 मामले मॉनिटरिंग एजेंसी में और 14 केस UGC के पास लंबित हैं।